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हरिद्वार कुंभ: महाशिवरात्रि स्नान की तैयारियां शुरू, यह अखाड़ा करेगा पहले स्नान

हरिद्वार, 8 मार्च; संन्यासी अखाड़ों की पेशवाई नौ मार्च को समाप्त हो रही है. अब तक निरंजनी, जूना, अग्नि, आनंद, आह्वान अखाड़े की पेशवाई हो चुकी है. केवल महानिर्वाणी और अटल अखाड़े की पेशवाई शेष है. इन दोनों अखाड़ों की पेशवाई आठ व नौ मार्च को समाप्त हो जाएगी. इसके बाद संन्यासी अखाड़े 11 मार्च को महाशिवरात्रि स्नान की तैयारी में जुट जाएंगे.



सरकारी तौर पर यह स्नान शाही स्नान में शामिल नहीं है. बावजूद सभी संन्यासी अखाड़े शाही शान और सवारी के साथ स्नान के लिए प्रस्थान करेंगे. महाशिवरात्रि पर्व पर होने वाले स्नान के साथ ही हरिद्वार कुंभ स्नान की विधिवत शुरुआत हो जाएगी.

शनिवार को मेलाधिकारी दीपक रावत तथा अपर मेलाधिकारी हरबीर सिंह दल-बल के साथ जूना अखाड़ा पहुंचे. उन्होंने जूना अखाड़ा के अंतरराष्ट्रीय सभापति श्रीमहंत प्रेमगिरि, सचिव श्रीमहंत मोहन भारती, श्रीमहंत महेश पुरी व अन्य पदाधिकारियों के साथ जूना अखाड़े की चारों मढिय़ों की छावनी का निरीक्षण कर व्यवस्थाओं का जायजा लिया.

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मेलाधिकारी दीपक रावत ने आह्वान अखाड़े की छावनी का भी निरीक्षण किया. अखाड़े के राष्ट्रीय महामंत्री श्रीमहंत सत्यगिरि तथा अन्य पदाधिकारियों से वार्ता कर सभी मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराए जाने का आश्वासन दिया.

मेलाधिकारी दीपक रावत ने बताया मेला प्रशासन 11 मार्च के महाशिवरात्रि स्नान को लेकर पूरी तरह से तैयार है. उन्होंने बताया कि उदासीन, निर्मल तथा बैरागी अखाड़ों की पेशवाई और छावनी प्रवेश अप्रैल में होंगे. इससे पूर्व ही इनकी छावनियों को भी पूर्ण रूप से व्यवस्थित कर लिया जाएगा. इन अखाड़ों के पेशवाई मार्ग भी चिह्नित कर लिए गए है, जिनको समय रहते चुस्त-दुरूस्त कर लिया जाएगा.



जूना अखाड़ा करेगा पहला स्नान

महाशिवरात्रि स्नान केवल संन्यासी अखाड़े ही करते हैं।.इनमें संन्यासी अखाड़ों की संख्या तीन ही होती है। क्योंकि जूना अखाड़ा के साथ अग्नि, आह्वान व किन्नर अखाड़ा, निरंजनी अखाड़ा के साथ आनंद अखाड़ा और महानिर्वाण के साथ अटल अखाड़ा स्नान करता है. इस आधार पर महाशिवरात्रि स्नान के लिए मात्र तीन अखाड़ों को ही स्नान का समय दिया जाता है. श्रीपंचदशनाम जूना अखाड़ा के आचार्य महामंडलेश्वर स्वामी अवधेशानंद की अगुवाई में जूना अखाड़ा स्नान को सबसे पहले जाएगा.

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Post By Shweta