Post Image

केदारनाथ की याद में परमार्थ की पहल

केदारनाथ त्रासदी की चौथी बरसी पर परमार्थ निकेतन में किया पौधा रोपण

पूज्य स्वामी चिदानन्द सरस्वतीजी व श्रद्धालुओं ने माँ गंगा के तट पर श्रद्धांजली अर्पित की>

’प्रियजन तर्पण, पेड़ अर्पण’ का लिया संकल्प पर्यावरण बढ़ेगा तो पलायन घटेगा-स्वामी चिदानन्द सरस्वती

ऋषिकेश, 16 जून। केदारनाथ आपदा की चौथी बरसी के दिन आज परमार्थ निकेतन के परमाध्यक्ष, ग्लोबल इण्टरफेथ वाश एलायंस के सह-संस्थापक एवं गंगा एक्शन परिवार के प्रणेता पूज्य स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने त्रासदी में दिवंगत हुये लोगों को भावभीनी श्रद्धांजली देते उनकी आत्मा की शान्ति के लिये ईश्वर से प्रार्थना की। गंगा तट पर होने वाले दैनिक यज्ञ में दिवंगत आत्माओं की शान्ति के लिये विशेष आहुतियाँ समर्पित की तथा पीपल के पौधे का रोपण किया गया।

पूज्य स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने कहा, ’केदारनाथ में आयी आपदा पर्यावरण के अति मानवीय दोहन के विरूद्ध प्राकृतिक प्रतिक्रिया थी। हम प्रत्येक दो सेंकेड में 120 मीटर चौड़ा और 90 मीटर लम्बा जंगल काटते जा रहे है। प्रत्येक वर्ष 10 अरब वृक्ष काटे जा रहे है और केवल 5 अरब पेड़ लगायें जा रहे है। पेड़ों के काटने से पर्यावरण असंतुलित हो रहा है। यह त्रासदी ईश्वर की कृतियों से छेडछाड़ के विरूद्ध चेतावनी के रूप में दैवीय संदेश था। ऐसी घटनाओं को रोकने के लिये पर्यावरण संरक्षण जरूरी है। उन्होने कहा कि त्रासदी में काल के गाल में समा गयी आत्माओं की याद में 6500 से भी अधिक फलदार, औषधीय एवं छायादार पौधोें का रोपण करेंगे ताकि वे सब लोग जो इस दुनिया में हमारे बीच नहीं है, उनकी याद में लगे पौधे दूसरों को छाया व शीतलता प्रदान करें। साथ ही वृक्षारोपण से पर्यावरण संरक्षण होगा ’पर्यावरण बढ़ेगा तो पलायन घटेगा।’

परमार्थ तट पर होने वाली दिव्य गंगा आरती में पूज्य स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने उपस्थित सभी श्रद्धालुओं को ’प्रियजन तर्पण, पेड़ अर्पण’ का संकल्प कराते हुये कहा कि जिन्होने इस आपदा में अपनों को खोया है वे सब हमारे परिवार के अंग है, हम उन सब परिवारों के दुख-दर्द में उनके साथ है। उन्होने कहा कि आज की दिव्य गंगा आरती हम उन दिव्य आत्माओं की शान्ति के लिये समर्पित करते है इस अवसर पर दो मिनट का मौन भी रखा।

Post By Religion World