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कोरोना वायरस के शमन हेतु शान्ति प्रार्थना, नवरात्रि के पावन अवसर पर विश्व शान्ति यज्ञ

कोरोना वायरस के शमन हेतु शान्ति प्रार्थना, नवरात्रि के पावन अवसर पर विश्व शान्ति यज्ञ

  • नवरात्रि के पावन अवसर पर परमार्थ निकेतन में वैदिक मंत्रों के साथ हुई विश्व शान्ति यज्ञ की शुरूआत
  • कोरोना वायरस के शमन हेतु शान्ति प्रार्थना
  • ’ऊँ शान्त कोरोना शान्त स्वाहा’ मंत्र की आहूतियाँ प्रदान की
  • संयम, संकल्प, साहस और समझदारी से मिलेगी कोरोना से मुक्ति-स्वामी चिदानन्द सरस्वती
  • परमार्थ निकेतन में चैत्र प्रतिपदा से शुरू हुआ विश्व शान्ति यज्ञ नौ दिनों तक नहीं बल्कि 21 दिनों तक चलेगा जिसमें प्रतिदिन विश्व शान्ति एवं संकट के अवसर पर सेवा प्रदान करने वाले कर्मियों और कोरोना वायरस के शमन के लिये आहूतियाँ प्रदान की जायेगी

ऋषिकेश, 25 मार्च। परमार्थ निकेतन में नूतन वर्ष के अवसर पर आयोजित विश्व शान्ति यज्ञ में कोरोना वायरस शमन हेतु विशेष आहुतियाँ प्रदान की गयी। विश्व के अनेक देशों के पर्यटक जो पहले से परमार्थ में आये थे वे अभी भी रूके हैं, उन्होंने भी स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज और साध्वी भगवती सरस्वती जी के पावन सान्निध्य में हिन्दू नूतन वर्ष के अवसर पर विश्व शान्ति यज्ञ में सहभाग किया। यज्ञ और प्रार्थना के अवसर पर भी सोशल डिस्टेसिंग और स्वच्छता का पूरा-पूरा ध्यान रखा जा रहा है। विश्व शान्ति यज्ञ में पूर्णाहूति के अवसर पर ’ऊँ शान्त कोरोना शान्त स्वाहा’ मंत्र की आहूतियाँ भी प्रदान की गई साथ ही भारत सहित पूरे विश्व के कल्याण हेतु प्रार्थना की गई।

स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी महाराज ने देशवासियों को नूतन वर्ष की शुभकामनाएं देते हुये कहा कि यह समय भय से नहीं बल्कि भीतर से जुड़ने का है; प्रभु का स्मरण और ध्यान करने का है। उन्होंने कहा कि सभी लोग संयम, संकल्प, साहस और समझदारी के साथ इस विपदा से पार पा सकें। नवरात्रि के नौ दिन पूर्ण रूप से अपने भीतर की यात्रा करें। यह अवसर प्रकृति ने हमें भीतर से जुड़़ने हेतु प्रदान किया है। यह अवसर आत्मनिरीक्षण का है, अपने और अपनों से जुड़ने का है।

स्वामी जी ने बताया कि चैत्र प्रतिपदा से शुरू हुआ विश्व शान्ति यज्ञ नौ दिनों तक नहीं बल्कि 21 दिनों तक चलेगा जिसमें प्रतिदिन विश्व शान्ति और कोरोना वायरस के शमन के लिये आहुतियाँ प्रदान की जायेगी। स्वामी जी ने देशवासियों से आह्वान किया की चैत्र नवरात्रि की साधना, आराधना और उपासना इस संकट के समय हम सभी को उत्तम स्वास्थ्य प्रदान करने हेतु कार्यरत डाॅक्टर, नर्स, स्वास्थ्य कर्मी, पैरामेडिकल स्टाफ, पुलिस, स्वच्छताकर्मी, मीडियाकर्मी, वाहन चालक तथा हमें जरूरत की वस्तुयें उपलब्ध कराने वालों को समर्पित करें क्योंकि उनकी सुरक्षा में ही सिद्धि है।

स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी ने कहा कि ’’आदरणीय प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी का उद्बोधन और घोषणायें मैने सुनी उसमें उनके दिल का दर्द और देशवासियों के प्रति उनकी चिंता, साफ दिखायी दे रही थी। मुझे लगता है उनकी चिंता पर हम सभी को ध्यानपूर्वक ध्यान देना है और टोटल लाॅक डाउन का मतलब टोटल लाॅक डाउन। इस समय अपने को सम्भालें और अपनों को सम्भालें। इसी से ही अपना, अपने परिवार का और पूरे देश का हित है। भारत इस चुनौती के सामने निश्चित रूपेन खरा उतरेगा, अकेले नहीं बल्कि आपके बल पर। आप अपने लिये भले ही अकेले है परन्तु अपने परिवार के लिये पूरी दुनिया है, इसको मत भूल जाईये। आपको कुछ हुआ तो आपके परिवार की पूरी दुनिया ही उजड़ जायेंगी इसलिये आईये गंभीरतापूर्वक इस का पालन करे और अभी से ही कुछ ऐसा न करे जो आपके परिवार को और पूरे देश को खतरे में डाले।’’

स्वामी जी ने कहा कि यह समय भारत सहित पूरे विश्व में शान्ति और भय मुक्त वातावरण तैयार करने का है; एक सकारात्मक सोच के साथ सजग रहने का है। भारत के एक सच्चे नागरिक के रूप में सरकार द्वारा बताये जा रहे नियमों का अच्छे विद्यार्थी की तरह पालन करे और कोरोना वायरस से मुक्त राष्ट्र के निर्माण में सहयोग प्रदान करे।

स्वामी चिदानन्द सरस्वती जी ने आज परमार्थ निकेतन में निवास करने वाले सभी लोगों को यशस्वी और ऊर्जावान प्रधानमंत्री जी का संदेश सुनाते हुये कहा कि भारत का सौभाग्य है कि भारत के पास श्री नरेन्द्र मोदी जी जैसे कर्मठ प्रधानमंत्री है जिन्होंने सही समय पर सही निर्णय लिया, अब हम सभी को सहयोग प्रदान करना होगा और जो भी निर्देश दिये गये है उनका अनिवार्य रूप से पालन करे।

Post By Religion World