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हरतालिका तीज : जानें शिव-पार्वती की मूर्ति स्थापना का समय और पूजा का शुभ मुहूर्त

प्रत्येक वर्ष आने वाली भाद्रपद मास के शुक्ल पक्ष की तृतीया हरितालिका तीज के नाम से जानी जाती है। इस वर्ष यह पर्व 21 अगस्त, दिन शुक्रवार को मान्य है। आज के दिन स्त्रियां इस पर्व को निर्जला व्रत करते हुए उत्साहपूर्वक मनाती हैं।



इस बार तृतीया तिथि शुक्रवार को रात्रि में 01 बजकर 59 मिनट तक है। इस वर्ष उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र, सिद्ध तदुपरि साध्य योग में तीज व्रत-पर्व अति शुभ योग में है।

शिव पार्वती मूर्ति स्थापना का समय

इस व्रत में महिलाओं को स्वयं अपने हाथों से माता पार्वती एवं भगवान शिव की मिट्टी की मूर्ति बनाकर पूजा करनी होती है। पंचामृत, फूल, माला, भोग, धूप, दीप आदि से पंचोपचार विधिवत पूजन करते हुए शंकर और पार्वती जी की मृतिका(मिट्टी) मूर्ति को सुन्दर बनाए गए मण्डप में स्थापित करने का शुभ मुहूर्त दिन में 01 बजे से लेकर दोपहर 02 बजकर 18 मिनट के मध्य है।

हरतालिका पूजा मुहूर्त

21 अगस्त को शाम 04 बजकर 21 मिनट से शाम 07 बजकर 39 मिनट के मध्य कथा सुनकर वायन अर्थात् सौभाग्य एवं पार्वती जी के निमित्त शृंगार की सामग्री का दान करने का शुभ मुहूर्त है।

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शुभ सौभाग्यदायक है इस वर्ष का तीज

शास्त्र के अनुसार, यदि चन्द्रमा कन्या राशि में हो तो तीज का सौभाग्यशाली योग माना गया है। इस दृष्टि से उत्तराफाल्गुनी नक्षत्र का तीन चरण कन्या का होने के कारण इस वर्ष का तीज-पर्व अत्यन्त शुभ सौभाग्यदायक है।पारिवारिक सुख-शान्ति, समृद्धि के लिए यह पर्व अति महत्वपूर्ण है। अखण्ड सौभाग्य एवं वंश-वृद्धि की पवित्र कामना से स्त्रियाँ बड़ी तपस्या से इस व्रत-पर्व को करती हैं।



आज के दिन आपको संयमित रहते हुए व्रत के नियमों का पालन करना चाहिए। इसमें मिथ्या वचन, दूसरों के प्रति द्वेष, पति या संतान से गलत व्यवहार, चोरी आदि जैसे कर्मों से स्वयं को दूर रखना चाहिए। आज के दिन को शिव और शक्ति की आराधना के लिए समर्पित करें।

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Post By Shweta